शुक्रवार, 26 जुलाई 2013

कबाड़ कस जवानी हे

बचपन टीना-टप्पर हे
कबाड़ कस जवानी हे
बीता भर पेट के
मूड़ भर कहानी हे ॥

बताव बँगला गाड़ी के
हमला का बानी हे ।
गाँधी के लँगोटी हे
हाँत भर के छानी हे ॥

उँखर बर छत्तीसगड़
खइ अऊखजानी हे ।
हमर जिहाँ रोजी-रोटी
उही राजधानी हे ॥

जरे हमर किसमत भइया
जरे जिनगानी हे ।
थारी मा उँखर दूद-भात
आँखी मा हमर पानी हे ॥

कोन कथे सुराज हे
सुघ्घर जिनगानी हे ।
पीरा के पहाड़ मा
भटकत परानी हे ॥


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